जांच में नकली मिली आठ दुकानदारों की दवाएं, रिपोर्ट आते ही वाराणसी में दर्ज होगा मुकदमा

खाद्य सुरक्षा व औषधि विभाग की टीम ने 28 जून को भोजूबीर-सिंधोरा रोड स्थित कई दवा की दुकानों पर छापा मारा था। विभाग को आशंका थी कि दुकानदार नकली दवाएं बेच रहे हैं। उस दिन करीब सवा दो लाख की दवाएं विभाग ने जब्त की थीं। दुकानों से लिया गया सैंपल जांच के लिए लखनऊ की जन विश्लेषक प्रयोगशाला भेजा गया था। सैंपल में मुख्य रूप से मीकोपोड सीवी, मेकोसेफ एलबी-625 जैसी दवाएं थीं। जिले के औषधि निरीक्षक अमित कुमार बंसल ने बताया कि जांच में आठ दुकानदारों की दवाएं नकली मिली हैं। रिपोर्ट आते ही उनके खिलाफ मुकदमा दर्ज किया जाएगा। औषधि प्रशासन की सक्रियता से जनवरी से अब तक 30 मेडिकल स्टोर संचालकों के खिलाफ कार्रवाई की जा चुकी है।
नकली दवा कारोबार में तीन प्रदेशों के गिरोह संलिप्त
ड्रग इंस्पेक्टर संजय दत्त ने बताया कि हिमाचल प्रदेश, हरियाणा व उत्तराखंड के गिरोह पूर्वांचल के जिलों में नकली दवाओं का कारोबार धड़ल्ले से कर रहे हैं। एक सप्ताह के अंदर रिपोर्ट आते ही इन सभी पर कार्रवाई की जाएगी।
लखनऊ से नमूनों की रिपोर्ट आते ही की जाएगी कार्रवाई
आठ मेडिकल स्टोर से नमूने लेकर जांच के लिए लखनऊ भेजे गए थे, जिनमें सभी दवाएं नकली पाई गई हैं। नमूनों की रिपोर्ट आते ही आगे की कार्रवाई की जाएगी।
– अमित कुमार बंसल, औषधि निरीक्षक वाराणसी।
थोक व फुटकर दवा विक्रेताओं के लिए खरीद व बिक्री सीमा निर्धारित
नशीली दवाओं का कारोबार करने वाले व्यापारियों पर शासन ने नकेल कसनी शुरू कर दी है। थोक व फुटकर दवा विक्रेताओं के लिए दवा की खरीद व बिक्री की सीमा को निर्धारित कर दिया गया है। अब व्यापारी दवाओं का अधिक स्टाक नहीं रख सकेंगे। इसके तहत खांसी की विशेष सिरप की खरीद व बिक्री को नियंत्रित किया गया है। थोक विक्रेता 1000 शीशी से अधिक का भंडारण नही कर सकेंगे। वहीं फुटकर विक्रेता अधिकतम 100 शीशी का भंडारण कर सकेंगे। फुटकर विक्रेता चिकित्सक के परामर्श से ग्राहक को हर पर्चे पर अधिकतम 20 टेबलेट ही दे सकेंगे।