गाजीपुर में 33 ग्रामीण डाक सेवकों के सत्यापन में 31 की डिग्रियां फर्जी, यूपी में भर्ती गिरोह की सक्रियता की आशंका

प्रदेश में एक बार फिर से भर्ती गिरोह की सक्रियता की करतूत सामने आने लगी है। इस बार डाक विभाग में भर्ती को लेकर कारनामा सामने आया है। डाक विभाग से जिले में ग्रामीण डाक सेवक फेज-चार में ब्रांच पोस्ट मास्टर के 37 व सहायक ब्रांच पोस्टमास्टर के 75 पद की भर्ती की प्रक्रिया के लिए मांगे गए आवेदनों में फर्जीवाड़ा सामने आ रहा है। चयनित 112 में से अभी तक 33 आवेदकों ने गाजीपुर में सत्यापन के लिए अपने प्रमाण पत्र जमा किए, जिसमें से 31 के शैक्षिक प्रमाण पत्र फर्जी मिले। फर्जी प्रमाण पत्र झारखंड, तमिलनाडु, ओपेन विश्वविद्यालय, राजस्थान, यूपी, आइसीएसई व संस्कृत बोर्ड की है। विभाग को अंदेशा है कि बाकी डिग्रियां भी फर्जी है। शायद तभी अभ्यर्थी सत्यापन कराने के लिए नहीं आ रहे हैं। कुछ अभ्यार्थी अपना प्रमाण पत्र छोड़कर भाग गए।
मई-जून माह में जिले में 112 पदों पर बीपीएम व एबीपीएम के लिए आवेदन मांगा गया था। यह भर्ती इंटरमीडिएट के प्राप्तांक के आधार पर बनी मेरिट पर होनी है। इसमें किसी भी राज्य से कोई भी अपने प्रमाण पत्रों को अपलोड कर आनलाइन आवेदन कर सकता है। आनलाइन आवेदन के बाद आवेदकों को अपनी सुविधा के मुताबिक शैक्षिक प्रमाण पत्रों का सत्यापन के लिए अपने चुनिंदा जिले का नाम भरना था। इसके बाद जिले के डाक विभाग को 112 अभ्यर्थियों की सूची मिली, जिन्होंने गाजीपुर में सत्यापन के लिए विकल्प चुना है। 33 ने पहुंचकर अपने प्रमाण पत्र विभाग में जमा किए, जिनका संंबंधित बोर्ड से सत्यापन कराया गया। सत्यापन में झारखंड, तमिलनाडु, ओपेन विश्वविद्यालय, राजस्थान, यूपी बोर्ड, आइसीएसई व संस्कृत बोर्ड की 31 डिग्रियां फर्जी मिली। इनके अंक भी 98 प्रतिशत से ज्यादा थे, सत्यापन प्रक्रिया के दौरान विभाग को पता चला कि ज्यादा अंक हासिल करने के आधार पर शार्ट लिस्ट किए गए 95 प्रतिशत से अधिक आवेदकों के अंकपत्र फर्जी है।
केस-1 : सारण जिला बिहार के रवि कुमार ने सहायक ब्रांच पोस्टमास्टर पद के लिए आवेदन किया था। शार्ट लिस्ट में इनका अंक 98.6 प्रतिशत है। मूल प्रमाण पत्रों की जांच में झारखंड बोर्ड का अंक पत्र फर्जी मिला।
केस-2 : राजापुर कटैया कासिमाबाद के संदीप कुमार ने तमिलनाडु बोर्ड के 98 प्रतिशत प्राप्तांक के अंक पत्र के आधार पर सहायक ब्रांच पोस्टमास्टर पद के लिए आवेदन किया था। सत्यापन में अंक पत्र फर्जी मिला।
केस-3 : देवरिया के कौशल कुमार मौर्य ने सहायक ब्रांच पोस्टमास्टर पर के लिए सीबीएसई बोर्ड 2012 का प्रमाण पत्र लगा आवेदन किया था, जो जांच के दौरान फर्जी पाया गया। यह अपना प्रमाण पत्र छोड़कर चला गया।
केस-4 : चंदौली के सतीश कुमार ने तमिलनाडु बोर्ड के अंक पत्र के साथ एबीपीएम पद के लिए आवेदन किया था। अपलोड अंक पत्र में इनका प्रतिशत 98.4 था। जब प्रमाण पत्र का सत्यापन किया गया तो अंक पत्र व अपलोड अंकपत्र के प्राप्तांक में अंतर पाया गया। यह अपना प्रमाण पत्र छोड़कर भाग गया।
बोले अधिकारी : ग्रामीण डाक सेवक के 112 पदों के लिए शार्ट लिस्ट किए गए आवेदकों के प्रमाण पत्रों की जांच में डिग्रियां फर्जी मिलीं है। सभी पर कार्रवाई के लिए संबंधित जिम्मेदरों को पत्र लिखा गया है। इनके खिलाफ मुकदमा दर्ज करने के लिए कहा गया है। – कृष्ण चंद्र, डाक अधीक्षक।